बेगूसराय। माॅडर्न थियेटर फाउण्डेशन, बेगूसराय ने अपने 21वें वर्षगांठ के अवसर पर नाटक चीफ़ की दावत का मंचन किया। कार्यक्रम से पूर्व जिले के वरिष्ठ चिकित्सक व एमटीएफ के संरक्षक डॉ एस पंडित, विश्व प्रसिद्ध लोक गायिका शारदा सिन्हा (पद्मभूषण) तथा विश्व प्रसिद्ध तबला वादक उस्ताद जाकिर हुसैन को श्रद्धांजलि देने हेतु एक मिनट का मौन रखा गया।
संस्थापक सदस्य एवं कलाक़ारों को दी बधाई
कार्यक्रम का उद्घाटन संयुक्त रूप से वरिष्ठ रंगकर्मी अवधेश, शिक्षाविद् व वार्ड पार्षद डॉ शगुफ़्ता ताजवर, कला-संस्कृति पदाधिकारी श्याम सहनी, गंगा ग्लोबल बीएड कालेज के सहायक प्राध्यापक प्रो विपिन कुमार तथा निर्देशक परवेज़ यूसुफ़ ने किया। अतिथियों ने संस्था के संस्थापक सदस्य व निर्देशक परवेज़ यूसुफ़ तथा कलाकरों को बधाई दी तथा माॅडर्न थियेटर फाउण्डेशन के 21 वर्षों की सफल यात्रा के लिए शुभकामनाएं दी।
मां का दर्द प्रस्तुत करने में सफल रहे कलाकार
नाटक- चीफ की दावत, भीष्म साहनी द्वारा लिखी गई एक ऐसी कहानी है, जो मां के त्याग और बेटे की उपेक्षा का ताना-बाना बुनती है। इस कहानी के माध्यम से लेखक ने एक मां का दर्द उकेरा है, जो अपने बेटे बहू के लिए बोझ के समान है। मां ने अपने बेटे को पाल-पोस कर बड़ा किया लेकिन वही बेटा उसे बुढ़ापे में बोझ समझता है। कहानी का नाट्य रूपांतरण किया है बीकानेर के दयानंद शर्मा ने जो बहुत ही रोचक और मार्मिक है। नाटक मंचन की परिकल्पना एवं निर्देशन वरिष्ठ रंगकर्मी व रंग प्रशिक्षक परवेज़ यूसुफ़ ने किया। दीपा कुमारी ने नाटक चीफ की दावत के केन्द्रीय पात्र मां की भूमिका का बहुत ही गंभीरता से निर्वाह किया। शामनाथ की भूमिका में राहुल कुमार तथा मिसेज शामनाथ की भूमिका का निर्वाहन एकता भारती ने किया। चीफ की भूमिका में नीतीश कुमार तथा कालू सिंह की भूमिका राजू कुमार ने निभाया। सभी कलाकार कहानी की मूल भावना को संप्रेषित करने में सफल रहे। कोरस में राजू कुमार, अमरेश कुमार, मो. गौस थे। मंच सज्जा किया नीतीश कुमार और राजू कुमार ने किया। मंच संचालन निर्देशक परवेज़ यूसुफ़ ने किया।
